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मेरे चलने और लेटने की

भजन लिखने वाले के बारे में सब कुछ

मेरे मुँह में ऐसी कोई बात नहीं

इस से पहले कि मैं कुछ भी बोलूँ

तूने मुझे आगे-पीछे घेर रखा है

यह परमेश्‍वर की हर जगह मौजूद उपस्थिति के बारे में है

अपना हाथ मुझ पर रखे रहता है

तू मेरा मार्गदर्शन और सहायता करता है

मेरे लिये बहुत कठिन है

मेरी समझ से परे है

यह गम्भीर और मेरी समझ से बाहर है

इसे समझना बहुत कठिन है