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उनकी तो रक्षा सदा होती है,

“यहोवा उनकी हमेशा रक्षा करेगा”

काट डाला जाएगा।

दुष्टों के नाश को इस तरह कहा गया है जैसे कि वह पौधे की डालीयाँ हैं जो काट कर फेंक दी गई है”

धर्मी

“धर्मी लोग”

पृथ्वी के अधिकारी होंगे,

“वह खेतों को प्राप्‍त करेंगे जेसे उनकी अपनी समप्‍ती हो”

धर्मी अपने मुँह से

“धर्मी मनुष्‍यध”

बुद्धि की बातें करता हैे

“लोगों से बुद्धि की बाते करता है”

न्याय का वचन कहता है।

“लोगो को धार्मिकता के साथ जीने के लिऐ प्रोतसाहित करता है”