hi_tn/lev/27/16.md

1.2 KiB

उसका मोल इसके अनुसार ठहरे, कि उसमें कितना बीज पड़ेगा।

अर्थात, इसको लगाने के लिए के व्‍यक्‍ति जो बीजो की मात्रा की जरुरत हो।

होमेर भर जौ पड़े उसी का मोल।

यहाँ पर “होमेर भर जौ“ किसी भूमि के हिस्‍से को दर्षाता है जिसे एक “होमेर भर जौ“ कि जरुरत है पुरी जगहा पे लगाने के लीए। अत: भूमि का एक टुकड़ा जिसके लिए एक होमर भर जौ की आवश्यकता हो ताकि यह सब जगह लगाया जा सके।

होमेर।

एक होमेर 220 लीटर का होता है।

चाँदी के पचास शेकेल।

अर्थात 50 चाँदी के टुकरे या 500 ग्राम की चाँदी।