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बड़ी लूट लिए हुए उसका मन पवित्र वाचा के विरुद्ध उभरेगा,

यह इस्राएल में परमेश्‍वर की वाचा का विरोध करने की राजा की इच्छा को दर्शाता है।अर्थात् इस वाक्‍य में कहा जा सकता है कि धन लूट लिए हुए वह पवित्र वाचा का विरोध करने के लिए दृढ़ संकल्पित होगा।

उसका मन

यह राजा की इच्छाओं को दर्शाता है।

पवित्र वाचा के विरुद्ध

पवित्र वाचा के विरुद्ध कार्य करने की राजा की इच्छा उस वाचा को मानने से इस्राएलियों को रोकने की उसकी इच्छा को दर्शाता है। अर्थात् पवित्र वाचा का पालन करने से इस्राएलियों को रोकने के लिए।

पवित्र वाचा

यहाँ "पवित्र" इस्राएल के साथ परमेश्‍वर की वाचा का वर्णन करता है। तात्पर्य यह है कि वाचा को सम्मान दिया जाना चाहिए और उसका पालन करना चाहिए क्योंकि यह स्वयं परमेश्‍वर की ओर से आती है।अर्थात् परमेश्‍वर की वाचा, जिसे सभी इस्राएलियों को मानना चाहिए।

वह अपनी इच्छा पूरी करके

तात्पर्य यह है कि राजा इस्राएल में कुछ कार्य करेगा।अर्थात् वह वही करेगा जो वह इस्राएल में चाहता है।