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प्रिय
परिभाषा:
“प्रिय” शब्द प्रीति की अभिव्यक्ति है कि जो ऐसे व्यक्ति का वर्णन करती है जिससे प्रेम किया जाता है और किसी का प्रिय है।
- “प्रिय” शब्द का वास्तविक अर्थ है “प्रिय जन” या “जिसे प्रेम किया जाता है”
- परमेश्वर ने यीशु के लिए कहा कि वह उसका “प्रिय पुत्र है”
- प्रेरितों द्वारा लिखे मसीह कलीसियाओं के पत्रों में बार-बार सहविश्वासियों को “प्रिय” कहा था।
अनुवाद के सुझाव:
- इस शब्द का अनुवाद हो सकता है, “स्नेही”, या “प्रिय जन” या “अति प्रिय” या “अति स्नेहमय”
- घनिष्ठ मित्रों के संदर्भ में इसका अनुवाद हो सकता है, “मेरे प्रिय मित्र” या “मेरे घनिष्ठ मित्र” अंग्रेजी भाषा में यह कहना स्वाभाविक है, “मेरे प्रिय मित्र पौलुस” या “पौलुस, मेरे प्रिय मित्र” अन्य भाषाओं में अलग-अलग उक्तियां अधिक स्वाभाविक होंगी।
- ध्यान दें कि “प्रिय” शब्द परमेश्वर के प्रेम से आता है जो शर्तरहित है, निःस्वार्थ और बलिदान का है।
(यह भी देखें: प्रेम)
बाइबल सन्दर्भ:
- 1 कुरिन्थियों 04:14-16
- 1 यूहन्ना 03:1-3
- 1 यूहन्ना 04:7-8
- मरकुस 01:9-11
- मरकुस 12:6-7
- प्रकाशितवाक्य 20:9-10
- रोमियो 16:6-8
- श्रेष्ठगीत 01:12-14
शब्द तथ्य:
- Strong's: H157, H1730, H2532, H3033, H3039, H4261, G25, G27, G5207