From 0e432ec45779049afb501cf7b8e8a34b6d27295e Mon Sep 17 00:00:00 2001 From: tsDesktop Date: Fri, 27 Sep 2019 10:23:43 +0530 Subject: [PATCH] Fri Sep 27 2019 10:23:41 GMT+0530 (India Standard Time) --- 04/28.txt | 4 ++-- 1 file changed, 2 insertions(+), 2 deletions(-) diff --git a/04/28.txt b/04/28.txt index 39f25ee..4be6ef1 100644 --- a/04/28.txt +++ b/04/28.txt @@ -1,10 +1,10 @@ [ { "title": "तब वह कहने लगी, “क्या मैंने अपने प्रभु से पुत्र का वर माँगा था? क्या मैंने न कहा था मुझे धोखा न दे?", - "body": "एक औरत इन बयानबाजी के सवालो का इसतेमाल करती है कि उसे क्या हुआ वह क्यो परेशान है कि “मैने तुम्हे एक बेटा देने के इ" + "body": "एक औरत इन बयानबाजी के सवालो का इसतेमाल करती है कि उसे क्या हुआ वह क्यो परेशान है कि “मैने तुम्हे एक बेटा देने के लिए कहा था ना कि झूठ बोलने के लिए”।" }, { - "title": "", + "title": "अपनी कमर बाँध", "body": "" }, {