hi_1ch_tn/17/25.txt

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Plaintext

[
{
"title": "तेरा घर बनाए रखूँगा",
"body": "तुम्हारे बच्‍चों के लिए और परिवार के लिए विकास किया उनके लिए एक घर का निर्माण किया।"
},
{
"title": "हियाव हुआ है।",
"body": "“हिमत हुई”"
},
{
"title": "तू आशीष दे चुका है, इसलिए वह सदैव आशीषित बना रहे।”",
"body": "यहाँ दोनो वाक्‍यांशों का अर्थ एक ही है।"
}
]