\v 31 तव बा बासे कहि, ' लौडा ताए त मिर सँब हर समय हए और मिर सबए सम्पत्ति तेरि हए । \v 32 पर हमके आन्नद मनान और खुसी होन ठिक हए , काहेकी जा तेरो भैया मरगओ रहए ,फिर जिन्दा भव हए,हरानो रहे ,और पाएगए हौ ।"