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\v 31 जाउन आदमी तुमके जैसो करात चाँहत हओ ,तुम फिर बिनसे अइसी कराओं । \v 32 तुम से प्रेम करनबालोसे प्रेम करत हओ कहेसे, तुम्हे का फाइदा भाओ ?कहेकी पापी फरी आपनके प्रेम करनबालेसे प्रेम करतहए । " \v 33 तुमर भलाई करनबालेके भलाई करतओ कहेसे, तुमे का फाइदा भओ ? कहेकी पापी फिर अइसीए करत हए । \v 34 यदि फिर्ता पान आशा करके कोइके ऋण देतओ कहेसे, तुमके का फाइदा भओ ? कहेकी फिर उत्कए पन आशा करके पापी पापीके ऋण देतहए ।