From c389f8d237267dabfcaec21432a4229774cd51a8 Mon Sep 17 00:00:00 2001 From: Rana_Tharu Date: Fri, 10 Mar 2023 13:19:19 +0545 Subject: [PATCH] Fri Mar 10 2023 13:19:19 GMT+0545 (Nepal Time) --- 16/22.txt | 1 + 16/25.txt | 1 + 16/26.txt | 1 + 3 files changed, 3 insertions(+) create mode 100644 16/22.txt create mode 100644 16/25.txt create mode 100644 16/26.txt diff --git a/16/22.txt b/16/22.txt new file mode 100644 index 0000000..46338ce --- /dev/null +++ b/16/22.txt @@ -0,0 +1 @@ +\v 22 \v 23 \v 24 22 जैसी हबए तुमके शोक होतहए, पर मए फिर तुमके देखेहौ, और तुमर ह्दय आनन्दित हुइहए| और कोइ तुमर आनन्द तुमसे छिनए पैहए| 23 बो दिन तुम मोसे कुछु नाए पुछेहौ| नेहत्व मए तुमसे कहत् हौ, तुम मिर नाउँमे पितासे जो मगैगे, बो तुमके दै देहए| 24 हबए तक तुम मिर नाउँमे कुछ नाए मागे हौ| मागौ, तव तुम पैहौ| अइसीय तुमर आनन्द पुरा होबए| \ No newline at end of file diff --git a/16/25.txt b/16/25.txt new file mode 100644 index 0000000..ad7252b --- /dev/null +++ b/16/25.txt @@ -0,0 +1 @@ +\v 25 | 25 "जा बात मए तुमके कहानीमे कहो हौ| पर समय अए रहो हए, अब मए तुमसे फिर कहानीमे काएहौ नाए, पर पिताके बारेमे तुमके स्पस्ट बताए हौ| " \ No newline at end of file diff --git a/16/26.txt b/16/26.txt new file mode 100644 index 0000000..d686574 --- /dev/null +++ b/16/26.txt @@ -0,0 +1 @@ +\v 26 \v 27 \v 28 26 बो दिन तुम मेरे नाउँमे मगैगे| मए तुमके ताहिँ पितासे बिन्ती करदेहौ करके तुमसे नाए कएहौ, 27 कहेकी पिता अपनए तुमके माया करत् हए, कहेकी तुम मोके माया करेहौ, और मए परमेश्वरके तर्फ से अओ हौ करके विश्वास करेहौ| 28 मए पितासे अओ, और संसारमे अओ, और फिर मए संसारके छोडके पिता के ठिन जए रहो हौ|” \ No newline at end of file