* “दोषी होने” के अनुवाद रूपों में ऐसा शब्द या उक्ति हो सकते हैं जिनके अर्थ हो सकते हैं, “अपराधग्रस्त होना” या “नैतिकता के क्षेत्र में गलत काम करना” या “पाप करना”
* __[39:2](rc://hi/tn/help/obs/39/02)__ वे कई झूठे गवाह लाए जो यीशु के बारे में झूठ बोल रहे थे। परन्तु उनके बयान एक दूसरे से नहीं मिल रहे थे, इसलिये यहूदी अगुवे यीशु को __दोषी__ सिद्ध नहीं कर पाए।
* __[39:11](rc://hi/tn/help/obs/39/11)__ यीशु से बात करने के बाद पिलातुस भीड़ के सामने आया, और कहा, “मैं तो इस व्यक्ति में कोई __दोष__ नहीं पाता।” परन्तु यहूदी गुरुओं ने चिल्लाकर कहा कि, “इसे क्रूस पर चढ़ा।” पिलातुस ने कहा , “मैं इसमें कोई __दोष__ नहीं पाता।” परन्तु वे और जोर से चिल्लाने लगे। पिलातुस ने तीसरी बार कहा “यह __दोषी__ नहीं है।”
* __[40:04](rc://hi/tn/help/obs/40/04)__ यीशु को दो डाकुओ के बीच क्रूस पर चढ़ाया गया। उनमें से एक जब यीशु का ठट्ठा उड़ा रहा था तो ,दूसरे ने कहा कि, “क्या तू परमेश्वर से नहीं डरता? हम __अपराधी__ है पर ,यह तो बेगुनाह है।”
* __[49:10](rc://hi/tn/help/obs/49/10)__ अपने ही पापों के कारण, तुम __दोषी__ हो और मृत्यु के योग्य हो।