* जब धर्म के अगुओं ने यीशु को मृत्युदण्ड के योग्य ठहरा दिया तब यीशु के साथ विश्वासघात करने क लिए यहूदा पछताया और यहूदी अगुओं का पैसा लौटाकर आत्म-हत्या कर ली।
(यह भी देखें: [प्रेरित](../kt/apostle.md), [पकड़वाना](../other/betray.md), [यहूदी अगुवे](../other/jewishleaders.md), [याकूब का पुत्र यहूदा](../names/judassonofjames.md))
* __[38:2](rc://hi/tn/help/obs/38/02)__ 'यीशु के शिष्यों में से एक __यहूदा__ नाम का एक पुरुष था । ...यीशु और चेलों के यरूशलेम में पहुँचने के बाद __यहूदा__ यहूदी गुरुओ के पास गया और पैसों के बदले यीशु के साथ विश्वास घात करने का प्रस्ताव रखा।
* __[38:3](rc://hi/tn/help/obs/38/03)__ यहूदी गुरुओं ने प्रधान याजक के नेतृत्व में यीशु को धोखा देने के लिये तीस चाँदी के सिक्के तोलकर __यहूदा__ को दे दिए।
* __[38:14](rc://hi/tn/help/obs/38/14)__ __यहूदा__ प्रधान याजकों, सैनिकों और एक बड़ी भीड़ को तलवार और लाठियों के साथ लाया। __यहूदा__ यीशु के पास आया और कहा, “ नमस्कार, गुरु,” और उसे चूमा।
* __[39:8](rc://hi/tn/help/obs/39/08)__ इसी दौरान जब __यहूदा__, विश्वासघाती ने देखा कि यहूदी याजक यीशु को अपराधी घोषित कर उसे मारना चाहते है। यह देख यहूदा शोक से भर गया और खुद को मार डाला।