ludhiana_kfx-x-outerseraji_.../02/01.txt

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\v 1 और तेऊ किऐ तम्हैं बी जिंऊंदै, ज़ुंण आपणैं अपराधा और पापा दी मूँऐं दै थियै। \v 2 ज़ेथ दी तम्हैं पैहलै एऊ संसारे रिती दी और सरगे अधिकारे राज़ै अर्थात तेसा आत्में साबै च़ला थियै, ज़ुंण आझ़काल्ला बी आज्ञा नांईं मनंणैं आळै बिच़ै करा काम। \v 3 एथ दी बताऊआ थियै हाम्हैं बी सोभ कै सोभ पैहलै आपणैं शारीरे लालसा दी धैळी, और शरीर और मनें मनसा करा तै पूरी। और होरी लोगा ज़िहै तै स्वभावाई का क्रोधे संतान।