From b9642e4c32037d2fc56e0015fb4edba9eb8eff0f Mon Sep 17 00:00:00 2001 From: tsDesktop Date: Tue, 26 Apr 2016 14:30:22 +0530 Subject: [PATCH] Tue Apr 26 2016 14:30:23 GMT+0530 (India Standard Time) --- 05/10.txt | 1 + 1 file changed, 1 insertion(+) create mode 100644 05/10.txt diff --git a/05/10.txt b/05/10.txt new file mode 100644 index 0000000..d6df048 --- /dev/null +++ b/05/10.txt @@ -0,0 +1 @@ +फेर पणमेश्वर ने अब्राहम ते कहया कि,” तयै मन्यै अपणा सबै किम्मै देण के खातेर राजी हो गईया, अडयै तकै कि अपणै एकलौते छोरे को भी ना राखै छोडया, इसै कारण म्है निश्चय तेन्ये आशीष देउगा |” अरै निश्चय थारै वंश को आकाश के तारागण के समान अनगिनित करागा | अरै धरती की सारी जातियाँ थारे कारण अपणै को धन्य मानेंयगी; क्युकि तन्ये म्हारी बात मन्यी है | \ No newline at end of file